भारत ने अफगानिस्तान में सामुदायिक विकास परियोजनाओं के चौथे चरण की शुरुआत की घोषणा की है । इसके तहत आठ करोड़ डॉलर की सौ से अधिक परियोजनाएं चलाई जाएंगी । विदेश मंत्री डॉ . एस . जयशंकर ने वर्चुअल माध्यम से जिनेवा में आयोजित 2020 अफगानिस्तान सम्मेलन के दौरान यह बात कही । दो दिन का यह सम्मेलन कल शुरू हुआ । यह सम्मेलन संयुक्त राष्ट्र , अफगानिस्तान सरकार और फिनलैंड सरकार ने आयोजित किया है ।
डॉक्टर जयशंकर ने कहा कि भारत ने हाल ही में शतूत बांध के निर्माण के लिए अफगानिस्तान के साथ समझौता किया है । इससे , काबुल शहर के बीस लाख निवासियों को स्वच्छ पेयजल उपलब्ध होगा । इससे पहले , भारत ने 202 किलोमीटर लम्बी फुल – ए – खुमरी ट्रांसमिशन लाइन का निर्माण कराया , जिससे काबुल को बिजली उपलब्ध कराई गई है ।
विदेश मंत्री ने अफगानिस्तान के विकास और सामरिक भागीदार तथा पड़ोसी देश की जनता के लाभ की भारत की दीर्घकालिक प्रतिबद्धता दोहराई । उन्होंने कहा कि भारत , अफगानिस्तान में तीन अरब डॉलर से अधिक की विकास परियोजनाएं चला रहा है । आज अफगानिस्तान का कोई भी हिस्सा ऐसा नहीं है , जो भारत की विकास परियोजनाओं से अछूता हो । अफगानिस्तान के सभी 34 प्रांतों में भारत ने 400 से अधिक परियोजनाएं चलाई हैं । उन्होंने कहा कि भारत में अफगानिस्तान के 65 हजार से अधिक विद्यार्थी पढ़ रहे हैं ।
विदेश मंत्री ने कहा कि क्षेत्र में महत्वपूर्ण पक्ष के रूप में भारत , शांतिपूर्ण , समृद्ध , सम्प्रभु , लोकतांत्रिक और संयुक्त अफगानिस्तान के लिए वहां की जनता और विश्व समुदाय के साथ मिल कर काम करने का इच्छुक है ।
