उत्तर प्रदेश में, वाराणसी की एक अदालत ने जिला प्रशासन को 17 मई तक ज्ञानवापी मस्जिद का सर्वेक्षण पूरा करने और उसके समक्ष एक विस्तृत रिपोर्ट प्रस्तुत करने का आदेश दिया है।
अदालत ने अंजुमन इंतेजामिया मस्जिद समिति की उस याचिका को खारिज कर दिया, जिसमें अधिवक्ता आयुक्त अजय कुमार मिश्रा को हटाने की मांग की गई थी, जिन्हें सर्वेक्षण करने का जिम्मा सौंपा गया है।
कोर्ट ने सर्वे का काम करने के लिए स्पेशल एडवोकेट कमिश्नर और असिस्टेंट एडवोकेट कमिश्नर की भी नियुक्ति की है.
कोर्ट के निर्देश के अनुसार इस साल अप्रैल के अंतिम सप्ताह में विरोध के बीच ज्ञानवापी परिसर का सर्वे छह मई से शुरू हुआ था. अगले दिन सर्वेक्षण रोक दिया गया और अंजुमन इंतेज़ामिया मस्जिद कमेटी ने अदालत में एक याचिका दायर कर अदालत द्वारा नियुक्त अधिवक्ता आयुक्त को बदलने का अनुरोध किया।
अगले दिन एक जवाबी याचिका भी दायर की गई, जिसमें अदालत से बेसमेंट सहित मस्जिद परिसर की वीडियोग्राफी पूरी करने का आदेश जारी करने की प्रार्थना की गई।
मामला एक साल पहले दायर एक याचिका से संबंधित है जिसमें याचिकाकर्ताओं ने ज्ञानवापी मस्जिद-शृंगार गौरी मंदिर परिसर में दैनिक पूजा और अनुष्ठान करने की अनुमति मांगी है।
