राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण की मुम्बई स्थित एक विशेष अदालत ने 2008 के मालेगांव विस्फोट मामले के सभी आरोपियों को 19 दिसम्बर को अगली सुनवाई के दिन अदालत में पेश होने का आदेश दिया है ।
आज सुनवाई के दौरान अदालत में सात आरोपियों में से केवल तीन आरोपी – लेफ्टिनेंट कर्नल पुरोहित , समीर कुलकर्णी और अजय रहिरकर ही उपस्थित थे । अदालत ने सभी आरोपियों के पेश न होने का संज्ञान लेते हुए 19 दिसम्बर को अगली सुनवाई के दिन सातों आरोपियों को पेश होने का आदेश दिया है ।
मालेगांव मामले में भारतीय जनता पार्टी सांसद प्रज्ञा ठाकुर , सेवानिवृत्त मेजर रमेश उपाध्याय , सुधाकर द्विवेदी और सुधाकर चतुर्वेदी को भी आरोपी बनाया गया ।
कोविड महामारी का हवाला देते हुए प्रज्ञा ठाकुर , रमेश उपाध्याय , सुधाकर द्विवेदी और सुधाकर चतुर्वेदी के वकीलों ने आज अदालत में उनके पेश होने से छूट की अर्जी दी थी । अदालत ने इसकी अनुमति दे दी , लेकिन उन्हें 19 दिसम्बर को अगली सुनवाई के दिन पेश होने का आदेश दिया । इन सभी आरोपियों के खिलाफ गैर कानूनी गतिविधि निरोधक कानून , विस्फोटक पदार्थ अधिनियम और भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है । 29 सितम्बर 2008 को महाराष्ट्र के मालेगांव में बम विस्फोट की घटना में छह लोग मारे गये थे और सौ से अधिक घायल हो गये थे । बम एक मस्जिद के पास मोटर साइकिल में छुपा कर रखा गया था ।
