देश के प्रसिद्ध शास्त्रीय गायक पंडित जसराज (90) का अमेरिका के न्यूजर्सी में निधन हो गया है. वह शास्त्रीय संगीत के मेवाती घराने से ताल्लुक रखते थे. पंडित जसराज को संगीत की शुरुआती शिक्षा पिता पंडित मोतीराम ने दी. बाद में उनके भाई ने उनको तबला संगीतकार के रूप में प्रशिक्षित किया. उन्होंने 14 वर्ष की आयु में गायक के रूप में प्रशिक्षण शुरू किया. 22 साल की उम्र में उन्होंने गायक के रूप में अपना पहला स्टेज कन्सर्ट किया. शास्त्रीय संगीत के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए उनको पद्मविभूषण, पद्मभूषण और पद्मश्री से नवाजा गया.
हरियाणा के हिसार से नाता रखने वाले जसराज ने मशहूर फिल्म निर्देशक वी शांताराम की बेटी मधुरा शांताराम से विवाह किया था. मधुरा से उनकी मुलाकात 1960 में मुंबई में हुई थी. 1962 में विवाह हुआ. उनके परिवार में दो पुत्र एवं एक पुत्री हैं.
पंडित जसराज शास्त्रीय संगीत के मेवाती घराने से ताल्लुक रखते हैं. इसको ‘ख़याल’ के पारंपरिक प्रदर्शनों के लिए जाना जाता है. जसराज ने ख़याल गायन में कुछ लचीलेपन के साथ ठुमरी, हल्की शैलियों के तत्वों को जोड़ा.
उनकी प्रतिभा को देखते हुए उन्हें कई पुरस्कारों से सम्मानित किया गया. उन्हें पद्मभूषण, सुमित्रा चरत राम अवार्ड फॉर लाइफटाइम अचीवमेंट, मारवाड़ संगीत रत्न पुरस्कार, स्वाति संगीता पुरस्करम्, संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार, पद्म श्री, संगीत कला रत्न, मास्टर दीनानाथ मंगेशकर पुरस्कार, लता मंगेशकर पुरस्कार और महाराष्ट्र गौरव पुरस्कार से सम्मानित किया गया.
उनके निधन पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और पीएम नरेंद्र मोदी समेत देश के कई नेताओं ने शोक जताया है।अनुभवी पार्श्वगायिका आशा भोसले ने कहा कि उन्होंने अपना बड़ा भाई खो दिया है.
सोर्स – जी न्यूज़
