भारत में बुलेट ट्रेन चलाने की शुरुआत हो या सुरक्षित और लम्बे-लम्बे हाईवे बनाने का काम हो या आत्मगौरव से भर देने वाले स्टैच्यू ऑफ यूनिटी प्रतीक चिन्हों के निर्माण की बात हो, हर क्षेत्र में भारत तेजी के साथ आगे बढ़ता हुआ दिखाई दे रहा है। वहीं अब देश ने सबसे लंबा हाई स्पीड ऑटो टेस्टिंग ट्रैक बनाने का गौरव हासिल किया है, जो कि एशिया का पहला और दुनिया का पांचवां सबसे लंबा हाई स्पीड ऑटो टेस्टिंग ट्रैक है। इस ट्रैक पर सड़कों पर उतरने से पहले वाहनों की टेस्टिंग की जाएगी। केंद्रीय भारी उद्योग एवं लोक उद्यम मंत्री प्रकाश जावडेकर और केंद्रीय राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने उद्घाटन किया है।

कहां बना है और हाई स्पीड ट्रैक की खासियत
मध्यप्रदेश में धार जिले के पीथमपुर स्थित नैट्रेक्स में 11.3 किमी लंबे इस ट्रैक का निर्माण किया गया है। इस विश्वस्तरीय ऑटो टेस्टिंग ट्रैक पर वाहनों के हर तरह के परीक्षण किए जा सकते हैं, जैसे जैसे अधिकतम गति को आंकना, एक्सीलरेशन, तय गति पर ईंधन की खपत क्षमता, रियल रोड ड्राइविंग सिमुलेशन के माध्यम से उत्सर्जन परीक्षण, लेन बदलने के दौरान के दौरान वाहन की स्थिरता, उच्च गति की निरंतरता परखने की सुविधा है। पीथमपुर औद्योगिक क्षेत्र में इस टेस्टिंग ट्रैक को एक हजार एकड़ जमीन पर तैयार किया गया है।

इसके अलावा यह सभी प्रकार के हाई स्पीड परीक्षणों के लिए एक प्रमुख स्थान है, जो दुनिया में सबसे बड़े ट्रैको में से एक है। यह सभी तरह की श्रेणी वाले वाहनों की जरूरत को पूरा कर सकता है। दो पहिया वाहनों से लेकर सबसे भारी ट्रैक्टर ट्रेलरों तक के वाहनों का इस ट्रैक पर परीक्षण किया जा सकता है। ट्रैक के घुमावों पर वाहनों की स्टेयरिंग का नियंत्रण 375 किलोमीटर प्रति घंटे की अधिकतम गति पर भी किया जा सकता है। इसके लिए ट्रैक को कम अंडाकार बनाया गया है, जो इसे वैश्विक स्तर पर सबसे सुरक्षित परीक्षण ट्रैक में से एक बनाता है।
ओईएम के लिए सुलभ
एचएसटी का इस्तेमाल बीएमडब्ल्यू, मर्सिडीज, ऑडी, फेरारी, लेम्बोर्गिनी, टेस्ला आदि जैसी हाई-एंड कारों की अधिकतम हाई स्पीड क्षमता को मापने के लिए किया जाता है, जिसे किसी अन्य भारतीय परीक्षण ट्रैक पर नहीं मापा जा सकता है। मध्य प्रदेश में स्थित होने के कारण, यह अधिकांश ओईएम (मूल उपकरण निर्माता) के लिए सुलभ है। यह सभी प्रकार के हाई स्पीड परीक्षणों के लिए एक प्रमुख स्थान है, जो दुनिया में सबसे बड़े ट्रैको में से एक है। यह सभी तरह की श्रेणी वाले वाहनों की जरूरत को पूरा कर सकता है। दो पहिया वाहनों से लेकर सबसे भारी ट्रैक्टर ट्रेलरों तक के वाहनों का इस ट्रैक पर परीक्षण किया जा सकता है। ट्रैक के घुमावों पर वाहनों की स्टेयरिंग का नियंत्रण 375 किलोमीटर प्रति घंटे की अधिकतम गति पर भी किया जा सकता है। इसके लिए ट्रैक को कम अंडाकार बनाया गया है, जो इसे वैश्विक स्तर पर सबसे सुरक्षित परीक्षण ट्रैक में से एक बनाता है।
भारत का ऑटोमोबाइल और स्पेयर पार्ट्स का मैन्युफैक्चरिंग केंद्र बनना तय
केन्द्रीय मंत्री प्रकाश जावडेकर ट्रैक को लेकर कहते हैं कि ”भारत का ऑटोमोबाइल और स्पेयर पार्ट्स का मैन्युफैक्चरिंग केंद्र बनना तय है। हम तेजी से ‘आत्मनिर्भर भारत’ की ओर बढ़ रहे हैं और इस दिशा में चौतरफा प्रयास किए जा रहे हैं।” उन्होंने आगे कहा, ”उनका मंत्रालय प्रधानमंत्री के सपने को पूरा करने के लिए के लिए प्रतिबद्ध है जिसके तहत भारत ऑटो मैन्युफैक्चरिंग का केंद्र बनेगा। ऑटोमोबाइल और मैन्युफैक्चरिंग उद्योगों के विस्तार से नए रोजगार पैदा करने में भी सहयोग मिलेगा। साथ ही उन्होंने कहा है कि ” रेलवे, राजमार्ग और जलमार्ग क्षेत्र की कई परियोजनाएं वर्षों से लटकी हुई थीं, जो आज मजबूत राजनीतिक इच्छाशक्ति के कारण पूरी हो रही हैं।”
सरकार दे रही मैन्युफैक्चरिंग और ऑटोमोबाइल उद्योग को बढ़ावा
इसी के साथ एशिया के सबसे लंबे हाई स्पीड ट्रैक को लेकर भारी उद्योग एवं लोक उद्यम राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल का कहना है कि सरकार मैन्युफैक्चरिंग और ऑटोमोबाइल उद्योग को बढ़ावा दे रही है क्योंकि इससे देश को बड़े पैमाने पर सशक्त बनाने में मदद मिलेगी।
देश को ऑटो हब बनाने के स्वप्न को साकार करने वाला प्रोजेक्ट
वहीं मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का इस ट्रैक के निर्माण पर कहा कि इंदौर को एशिया के सबसे लंबे हाई स्पीड ट्रैक (एचएसटी) की सौगात मिली है। इसके लिये सबसे पहले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, केन्द्रीय भारी उद्योग एवं लोक उद्यम मंत्री प्रकाश जावडेकर और भारी उद्योग एवं लोक उद्यम राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल के प्रति आभार व्यक्त है। वास्तव में यह प्रोजेक्ट प्रधानमंत्री के आत्मनिर्भर भारत के अंतर्गत देश को ऑटो हब बनाने के स्वप्न को साकार करने में अपना योगदान देगा। साथ ही प्रदेश में रोजगार के अवसर भी उपलब्ध करवायेगा।
सीएम ने कहा कि, ”इसकी खासियत यह है कि इस एनएटीआरएएक्स (राष्ट्रीय मोटर वाहन परीक्षण ट्रैक) को 1,000 एकड़ भूमि के क्षेत्र में विकसित किया गया है, जहां पर दो पहिया वाहनों से लेकर भारी ट्रैक्टर, ट्रेलरों तक के सभी प्रमुख श्रेणी वाले वाहनों के हाई स्पीड परीक्षण हो सकेंगे, जो कि वाहनों के लिए सभी प्रकार के हाई स्पीड परीक्षण का एक प्रमुख केंद्र होगा।”
